बिहार में जंगलराज Return

बिहार में जिस तरह से लगातार अपराध बढ़ रहें है । उस से नीतीश कुमार का इकबाल खत्म हो रहा हैं। सरकार अपनी नाकामी छिपाने के लिए 2005 के पहले का दौर याद दिलवाते है जिसका कोई औचित्य नहीं बनता 2005 पहले के जो लालू जी का कार्यकाल था , उसकी सजा लालू जी को जनता ने सत्ता से बाहर करके दे दिया अब जनता ने नीतीश कुमार की अगुआई वाली NDA गठबंधन को सत्ता सौंपी है और सुशासन के नाम पर सौंपी हैं कि बिहार के लोग पुरानी दौर में नहीं जाना चाहते थें। लेकिन विगत वर्षों में जिस तरह से बिहार में अपराध का ग्राफ बढ़ा है वो कुछ और इशारा कर रहा है ।

मुंगेर में ASI संतोष कुमार की हत्या और दूसरा अररिया में ASI राजीव कुमार की हत्या 2 दिनों में दो पुलिसकर्मी की हत्या से साफ लगता है कि बिहार में अराजकता की स्थिति उत्पन्न हो गई है । नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो NCRB की डाटा बताती है कि बिहार पुलिसकर्मियों के हमले मामले में अवल रहा है ।


2020 में 77 पुलिस वालों पर हमला के वारदात ,2021 में 97 वहीं ये आंकड़ा 2022 में 404 हो जाता है । एक तरफ पुलिस पर शराब माफियाओं से साठगांठ का आरोप लगता है वहीं दूसरी तरफ पटना से सटे मनेर थाना के अंतर्गत मनेर में शराब माफिया पुलिस की पिटाई कर देते हैं। अपराध बिहार में कितना बढ़ गया है आप इसी से अंदाजा लगा सकते हैं कि 10 मार्च 2025 को आरा के तनिष्क शोरूम में दिनदीहारे 25 करोड़ की सोना लूट लिया जाता है। 05 मार्च को हाजीपुर में लूटपाट के दौरान महिला को गोली मार दी जाती है। 04 मार्च को हाजीपुर में ही निजी स्कूल पर बम से हमला होता है। 26 फरवरी को शराब के नशे में धुत युवक ने फायरिंग कर दहशत फैला दी। 15 फरबरी को सीतामढ़ी में मॉर्निंग वॉक के दौरान एक शख्स को गोली मार दी गई। 14 फरबरी को पटना में दिन दहाड़े दो युवक पर फायरिंग की गई। 10 जनवरी को सारण में 32 लाख की लूट हो गई । बिहार में ऐसा नहीं है कि पिछले महीने ही अपराध में बढ़ोतरी हुई है अपरस निरंतर जारी रहा है । नेशन क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो का डेटा निम्नलिखित है।

NDA सरकार (अगस्त 2017 से मई 2022)
हत्या – 236 (प्रति महीना)
डकैती – 22 (प्रति महीना)
चोरी – 2702 (प्रति महीना)
बलवा – 660 (प्रति महीना)
अपहरण – 787 (प्रति महीना)
रेप – 114 (प्रति महीना)

बिहार में अपराध की डेटा (प्रति वर्ष)

2020 हत्या 3150, अपहरण 7889 , रेप 806
2021 हत्या 2799, अपहरण 10198, रेप 786
2022 हत्या 2930, अपहरण 11822 , रेप 881

बिहार में अपराध का एक लंबा इतिहास रहा है। कुछ बुद्धिजीवी लोगों का मानना है कि जब तक सत्ता में अपराधी प्रवृत्ति के लोग चुनकर आयेंगे, तब तक अपराध पर लगाम नहीं लगाया जाता क्योंकि अपराधी इन्हीं लोगों से प्रेरणा लेटें हैं। ADR रिपोर्ट भी कहती है कि बिहार के 243 के विधानसभा में 123 चुने विधायक ऐसे है जिनपर संगीन आरोप है जिसमें हत्या बलात्कार अपहरण जैसे आरोप शामिल हैं।

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